महामारी के रूप में फैल रहा आई फ्लू

 महामारी के रूप में फैल रहा आई फ्लू

अस्पतालों और मेडिकल स्टोर्स में आई ड्रॉप्स का टोटा, मरीज परेशान


जावेद खान

छोटा अखबार।

जयपुर। प्रदेश में पहली बार आई फ्लू का संक्रमण इस कदर तेजी से फैला है कि हर दूसरा व्यक्ति इस संक्रमण का शिकार हो चुका है। हर घर में आई फ्लू के मरीज देखने को मिल रहे हैं। स्कूलों, दफ्तरों, अस्पतालों सभी जगहों पर इन दिनों लोग काला चश्मा लगाए आई फ्लू संक्रमण से जूझते दिखाई पड़ रहे हैं। एक ओर जहां अस्पतालों की नेत्र विभाग की ओपीडी में मरीजों की संख्या में बेतहाशा बढ़ोतरी हो रही है वहीं डॉक्टर्स को दिखाने के बाद मरीज आई ड्रॉप्स के लिए इधर-उधर भटक रहे हैं और उन्हें दवा नहीं मिल पा रही है। बाजार में इन आई ड्रॉप्स की भारी किल्लत देखने को मिल रही है। मरीज पर्चियां लिए इस मेडिकल स्टोर से उस मेडिकल स्टोर पर भटक रहे हैं लेकिन कहीं लोेकल ब्रांड तो कही सस्ते स्टेरॉयइड वाली आई ड्रॉप्स मरीजों को दी जा रही है। अचानक से आई ड्रॉप्स की इतनी ज्यादा खपत होने से चिकित्सकों के साथ ही दवा विक्रेता भी हैरान हैं। दवा विक्रेताओं का कहना है कि आई ड्रॉप्स का अमूमन इतना स्टॉक नहीं होता है और अचानक से आई फ्लू संक्रमण इतनी तेजी से फैला है कि खपत के अनुपात में आपूर्ति गड़बड़ा गई है और दवा की शॉर्टेज हो गई है।


सरकारी अस्पतालों में भी हाल खराब

आईफ्लू के बढ़ते संक्रमण के बीच एसएमएस अस्पताल, जयपुरिया समेत अन्य सरकारी अस्पताल, डिस्पेंसरियों के अलावा बाजार में इस संक्रमण से बचाव के लिए काम आने वाली दवा का टोटा हो गया है। इन अस्पतालों में डॉक्टर जिन दवा का परामर्श दे रहे हैं वे ही यहां नहीं मिल रही हैं। मजबूरन मरीजों को अस्पताल से बाहर दूसरी वैकल्पिक दवा लेनी पड़ रही हैं। सबसे ज्यादा परेशानी आईड्रोप को लेकर हो रही है।


एसएमएस में रोजाना 200 से 300 मरीज

बरसात के मौसम में नमी के कारण एडिनो वायरस पनप रहा है। इस वायरस के कारण इन दिनों घर-घर में आईफ्लू से ग्रस्त मरीज मिल रहे हैं। ये हर उम्र के लोगों को चपेट में ले रहा है। अस्पतालों की ओपीडी में 30-40 फीसदी मरीज आईफ्लू से पीड़ित आ रहे हैं। सवाई मानसिंह अस्पताल के चरक भवन, जयपुरिया अस्पताल, कांवटिया अस्पताल समेत अन्य सरकारी अस्पतालों में ऐसा ही हाल देखा जा रहा है। एसएमएस अस्पताल के नेत्ररोग विशेषज्ञों का कहना है कि आईफ्लू के रोजाना 200 से 300 मरीज पहुंच रहे हैं इसलिए आई ड्रोप की कमी आ गई है। डिमांड भेज दी है। जल्दी समाधान हो जाएगा।


इन आई ड्रॉप्स की है भारी शॉर्टेज

मेडिकल स्टोर्स से इन दिनों आंखों के संक्रमण में काम आने वाली एंटिबायोटिक सिपलोक्स, मोक्सीसिप, ऑक्यूरेस्ट, ऑक्यूरेस्ट प्लस, टोबा, ऑक्यूपोल आोइंटमेंट जैसी प्रचलित आई ड्रॉप्स की किल्लत चल रही है। इसकी एवज में मेडिकल स्टोर संचालक मरीजों को इनका सब्स्टीट्यूट देकर काम चला रहे हैं।


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