थर्ड ग्रेड शिक्षकों के जारी करा दिए फर्जी ट्रांसफर आदेश, विभाग को देनी पड़ी सफाई
थर्ड ग्रेड शिक्षकों के जारी करा दिए फर्जी ट्रांसफर आदेश, विभाग को देनी पड़ी सफाई
छोटा अखबार।
माध्यमिक शिक्षा निदेशालय के नाम से प्रारंभिक शिक्षा के थर्ड ग्रेड शिक्षकों के फर्जी आदेश वायरल किए गए हैं। वायरल हुए इन आदेशों की खबर जब निदेशालय को मिली, तो माध्यमिक शिक्षा निदेशक गौरव अग्रवाल ने एक प्रेस विज्ञप्ति जारी कर बताया है कि 3 मार्च 2023 को जारी यह आदेश जाली तथा कूट रचित हैं। उन्होंने संबंधित जिला शिक्षा अधिकारियों को इन आदेशों के परिप्रेक्ष में सावधान रहने की अपील की है।
तीनों ही फर्जी आदेश प्रारंभिक शिक्षा में कार्यरत प्राथमिक स्कूलों के शिक्षक हैं, जबकि निदेशक गौरव अग्रवाल के फर्जी आदेशों के नीचे संयुक्त निदेशक (माध्यमिक शिक्षा) अरविंद व्यास के हस्ताक्षर किए गए हैं। अरविंद व्यास के फर्जी हस्ताक्षरों से ही इनके प्रथम दृष्टया फर्जी होने की शंका हुई, क्योंकि प्रारंभिक शिक्षा के शिक्षकों के स्थानातरणों पर प्रारंभिक शिक्षा के अधिकृत अधिकारी के हस्ताक्षर होने चाहिए, जबकि इन आदेशों पर संयुक्त निदेशक (माध्यमिक) के फर्जी हस्ताक्षर किए गए हैं। जब इन आदेशों की जांच की गई, तो इनके फर्जी होने की पुष्टि हो गई।
यह है मामला
जो फर्जी आदेश 3 मार्च की तिथि में जारी हुए हैं, उनमें एक थर्ड ग्रेड शिक्षक का स्थानांतरण बाड़मेर जिले से सवाई माधोपुर जिले में, दूसरी महिला शिक्षक का झालावाड़ से कोटा जिले में तथा तीसरी तृतीय श्रेणी अध्यापिका का राजसमंद जिले से झुंझनूं जिले में किया गया है। तीनों ही प्रारंभिक शिक्षा के अधीन राजकीय प्राथमिक विद्यालयों में कार्यरत हैं।
पुलिस में एफआईआर दर्ज कराने की कार्यवाही
निदेशालय द्वारा इन फर्जी आदेशों की जानकारी होते ही सबसे पहले बाड़मेर, सवाई माधोपुर, झालावाड़ , कोटा, राजसमंद तथा झुंझनूं जिले के प्रारंभिक जिला शिक्षा अधिकारियों को इन आदेशों की पालना नहीं करने, इन शिक्षकों को कार्यमुक्त तथा कार्यग्रहण नहीं कराने के निर्देश दिए गए। इसके साथ ही कूट रचित स्थानांतरण आदेश जारी करने, फर्जी हस्ताक्षर करने तथा प्रारंभिक शिक्षा के शिक्षकों का माध्यमिक शिक्षा के आदेश क्रमांक से आदेश जारी करने वाले अज्ञात व्यक्तियों के खिलाफ एफआईआर दर्ज कराने की कार्यवाही की जा रही है।
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