आंध्र प्रदेश में अब होगी तीन राजधानी
आंध्र प्रदेश में अब होगी तीन राजधानी
छोटा अखबार।
भारत में आंध्र प्रदेश एक ऐसा अकेला राज्य होगा जिसमें तीन राजधानियां होगी। आंध्र प्रदेश विधानसभा ने सोमवार को विपक्ष के भारी विरोध के बीच विकेंद्रीकृत विकास करने के उद्देश्य से राज्य में तीन राजधानियां बनाने के प्रस्ताव को मंजूरी दे दी। ये तीन राजधानियां विशाखापत्तनम, करनूल और अमरावती होंगी।आंध्र प्रदेश सरकार ने राज्य में 17 जनवरी को एहतियातन हिरासत अधिनियम और राष्ट्रीय सुरक्षा कानून 1980 लागू कर दिया था। इस बेहद महत्वपूर्ण फैसले से पहले आदेशों के तहत प्रदेश पुलिस को लोगों को ऐहतियान हिरासत में लेने और लोगों को एक साल तक हिरासत में लेने का अधिकार मिल गया।
समाचार सूत्रों के अनुसार आंध्र प्रदेश विकेंद्रीकरण और सभी क्षेत्रों के समान विकास अधिनियम 2020 को नगर प्रशासन और शहरी विकास मंत्री बी.सत्यनारायण ने पेश किया था। वित्त मंत्री बी. राजेंद्रनाथ ने विधेयक पर चर्चा शुरू की और कहा कि सरकार राज्य को चार क्षेत्रों में विभाजित करके आंचलिक विकास शुरू करना चाहती है। जिसमें प्रत्येक क्षेत्र में तीन-चार जिले होंगे ताकि संतुलित विकास सुनिश्चित किया जा सके।
राजेंद्रनाथ ने कहा कि हम आंचलिक विकास बोर्डों की स्थापना करेंगे जो विकास में तेजी लाने के संबंध में सिफारिश करेंगे। हम अमरावती मेट्रोपॉलिटन क्षेत्र तैयार कर रहे हैं। जहां से विधायी कार्य होंगे। इसका मतलब होगा कि अमरावती विधायी राजधानी होगी। कार्यकारी राजधानी विशाखापत्तनम होगी जबकि करनूल शहरी विकास क्षेत्र न्यायिक राजधानी होगी। उन्होंने विधानसभा में कहा कि राजभवन और सचिवालय को विशाखापत्तनम ले जाया जाएगा।
वहीं दूसरी ओर पूर्व मुख्यमंत्री चंद्रबाबू नायडू की पार्टी टीडीपी राजधानी को स्थानांतरित करने के कदम का भारी विरोध कर रही है आज कैबिनेट की बैठक से पहले, टीडीपी के कई नेताओं को अमरावती, विजयवाड़ा और गुंटूर में एहतियातन हिरासत में ले लिया गया। तनाव के कारण सरकार के फैसले का विरोध कर रहे टीडीपी कार्यकर्ताओं और किसानों को अमरावती के 29 गांवों में विरोध प्रदर्शन आयोजित करने से रोका गया था।
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